Tuesday, October 29, 2013

खेल जारी है …

लो, आज फिर 
एक कलाकार चला गया 
फिर भी 
खेल जारी है 
खेल जारी रहेगा 

न पर्दा गिरेगा 
न उठेगा 
न कभी मंच खाली होगा 
न खाली रहेगा 
तालियाँ बजते रहेंगी 

अनवरत 
किस्से, कहानी, कवितायें … 
लिखी जाती रहेंगी 
पढ़ी जाती रहेंगी 
खरीदी व बेची जाती रहेंगी 

एक कलाकार … 
कल गया था 
एक आज गया है 
कल फिर 
कोई एक चला जाएगा … !

हंसी … 
मजाक … 
ठहाके … 
तालियाँ … मौन … 
खेल जारी है … जारी रहेगा !!

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